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स्थानीय निकायों में ओबीसी को 50 प्रतिशत आरक्षण देने का दावा झूठा, आरक्षित वर्गों के साथ अन्याय कर रही है भाजपा सरकार

असल बात न्युज  स्थानीय निकायों में ओबीसी को 50 प्रतिशत आरक्षण देने का दावा झूठा, आरक्षित वर्गों के साथ अन्याय कर रही है भाजपा सरकार रायपुर, ...

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असल बात न्युज 

स्थानीय निकायों में ओबीसी को 50 प्रतिशत आरक्षण देने का दावा झूठा, आरक्षित वर्गों के साथ अन्याय कर रही है भाजपा सरकार


रायपुर, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि छत्तीसगढ़ में नगरीय निकायों में आरक्षण को लेकर जारी अध्यादेश छत्तीसगढ़ की बहुसंख्यक आबादी जो अन्य पिछड़े वर्ग के लोग हैं, उनके साथ अन्याय है। भाजपा से जुड़े लोग विज्ञापन बोर्ड पर ओबीसी को 50 प्रतिशत आरक्षण देने का दावा कर रहे हैं जो सरासर झूठ है। हक़ीक़त यह है कि आरक्षित सीटों की कुल संख्या ही अधितकम 50 प्रतिशत है, इसमें एससी, एसटी, अल्पसंख्यक और ओबीसी सभी के आरक्षण शामिल हैं। सरकार ने आरक्षण की अधिकतम सीमा 50 प्रतिशत की है, जहां एससी-एसटी की आबादी 50 फीसदी से ज्यादा है, वहां पिछड़ा वर्ग को आरक्षण का लाभ नहीं मिलेगा।

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि भारतीय जनता पार्टी मूलतः आरक्षण विरोधी है। छत्तीसगढ़ में जब ये विपक्ष पक्ष में थे, तो राजभवन की आड़ में विधानसभा से सर्वसम्मति से पारित आरक्षण विधेयक लटकाए रखें। आरक्षित वर्गो को उनकी हिस्सेदारी के अनुसार आरक्षण का लाभ देने के लिए पूर्ववर्ती कांग्रेस की सरकार के द्वारा 2 दिसंबर 2022 को सर्वसम्मति से पारित, “छत्तीसगढ़ नवीन आरक्षण विधेयक“ विगत 2 वर्ष से अधिक समय से आज तक राजभवन में लंबित है। भाजपा नेता बताएं कि छत्तीसगढ़ की बहुसंख्यक आबादी के शिक्षा और रोजगार के हितों को प्रभावित करने वाले इस महत्वपूर्ण आरक्षण विधेयक को कब तक राजभवन में लंबित रखा जाएगा? भाजपाई बताएं कि छत्तीसगढ़ के बहुसंख्यक आबादी जो ओबीसी हैं, उनको 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत आरक्षण का लाभ क्यों नहीं मिलना चाहिए? सामान्य वर्ग के गरीबों को ईडब्ल्यूएस का आरक्षण क्यों बाधित है? अनुसूचित जनजाति को 32 प्रतिशत आरक्षण के लाभ के साथ अनुसूचित जातियों को उनकी आबादी अनुरूप 13 प्रतिशत आरक्षण क्यों नहीं देना चाहती है भाजपा सरकार?

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि भाजपा सरकार के द्वारा आरक्षण के प्रावधानों में जो परिवर्तन किया गया वह पिछड़े वर्ग के हितों के खिलाफ़ है। पिछड़े वर्ग के अधिकारों को छीनने का काम भाजपा की सरकार कर रही है, ऐसे असंतुलित प्रावधान के बाद पिछड़े वर्ग के लिए कुछ नहीं बचने वाला है। पिछड़े वर्ग के लोग महापौर और जिला पंचायत अध्यक्ष बनने के लिए तरस जाएंगे, यह सरकार पिछड़े वर्ग के खिलाफ़ लगातार षडयंत्र कर रही है। साय सरकार के ओबीसी विरोधी षडयंत्रों पर पर्देदारी करने भाजपा नेता, साय को पिछड़े वर्ग को 50 प्रतिशत आरक्षण देने के लिए धन्यवाद ज्ञापित करने, विज्ञापन लगवा कर झूठे तथ्य प्रसारित करने का कुत्सित प्रयास कर रहे हैं। यदि केवल अन्य पिछड़े वर्ग को 50 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा तो कुल आरक्षण 96 प्रतिशत हो जाएगा। जबकि भाजपा बार बार कह रही है कि आरक्षण सीमा 50 प्रतिशत ही रखा जाएगा, अध्यादेश में भी आरक्षण की अधिकतम सीमा 50 फ़ीसदी ही है। छत्तीसगढ़ में आधे से अधिक आबादी अन्य पिछड़ा वर्ग की है, जिनके साथ यह सरकार धोखा कर रही है, ठग रहे हैं, उनके जायज़ हकों़ पर डकैती की जा रही है।