स्वरूपानंद महाविद्यालय के शिक्षा विभाग का आयोजन भिलाई । असल बात न्यूज़।। स्वामी श्री स्वरूपानंद सरस्वती महाविद्यालय हुडको भिलाई के श...
स्वरूपानंद महाविद्यालय के शिक्षा विभाग का आयोजन
भिलाई ।
असल बात न्यूज़।।
स्वामी श्री स्वरूपानंद सरस्वती महाविद्यालय हुडको भिलाई के शिक्षा विभाग द्वारा छत्तीसगढ़ गौरव दिवस के अवसर पर छत्तीसगढ़ी कविता पाठ एवं लोक नृत्य का आयोजन मां सरस्वती की वंदना एवं स्वागत गीत के द्वारा किया गया कार्यक्रम के उद्देश्यों पर प्रकाश डालते हुए सहायक प्राध्यापक डॉ शैलजा पवार ने कहा छत्तीसगढ़ अपनी सांस्कृतिक विरासत में समृद्ध है राज्य में एक बहुत ही अद्वितीय और जीवंत संस्कृति है उनके लयबद्ध लोकनृत्य देखना एक आनंददायक अनुभव है जो राज्य के संस्कृति में अंतर्दृष्टि भी प्रदान करता है हम इन लोक नृत्यों के माध्यम से छत्तीसगढ़ के सामाजिक आर्थिक एवं सांस्कृतिक रूप के दर्शन करते हैं।
कार्यक्रम मे सेठ बद्रीलाल खंडेलवाल शिक्षा महाविद्यालय दुर्ग की सहायक प्राध्यापक डॉ अर्चना तिवारी ने कहा सभी प्रतिभागियों की शानदार प्रस्तुति रही सभी प्रतिभागियों ने बहुत अच्छा प्रदर्शन किया एक क्षण को ऐसा लगा कि जैसे हम अपने पारंपरिक परिवेश में वापस आ गए हैं कविता पाठ एवं नृत्य प्रतियोगिता में लगभग 77 विद्यार्थियों ने बीएड प्रथम एवं तृतीय सेमेस्टर के विद्यार्थियों ने भाग लिया ।
महाविद्यालय के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ दीपक शर्मा ने कार्यक्रम की सराहना करते हुए कहा कि आज की युवा पीढ़ी हमारी संस्कृति को सहेज कर रखने तथा निरंतर आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं बी एड प्रशिक्षणार्थियों की भूमिका और भी अत्यधिक महत्वपूर्ण हो जाती है क्योंकि आप सभी भावी शिक्षक होगें।
महाविद्यालय की प्राचार्य डॉक्टर हंसा शुक्ला ने कार्यक्रम की सराहना करते हुए कहा सभी प्रतिभागियों ने बहुत ही शानदार प्रस्तुति दी सभी बधाई के पात्र हैं।
महाविद्यालय की उपप्राचार्य डॉक्टर अज़रा हुसैन ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ की लोक कला एवं संस्कृति बहुत ही अनूठी है छत्तीसगढ़ में अनेक प्रकार के लोक नृत्य प्रसिद्ध है जिसमें प्रमुख रुप से सुआ नृत्य कर्मा राउत नाचा पंथी के द्वारा अपने भावों को अभिव्यक्त करने के साथ अपने इष्ट को याद करते हैं।
बी एड प्रथम सेमेस्टर की छात्रा पूनम देहारी ने युवराज साहू द्वारा रचित छत्तीसगढ़ी कविता का पाठ किया जिसमें माटी की महिमा का उल्लेख मिलता है ‘मोर माटी मोर महतारी कईसे मैं भुलावव वो, तोर कोरा मा बइठ के तोर गुण गाँवव वो’
बी एड प्रथम सेमेस्टर की छात्रा ममता प्रमाणिक ने ‘मानव मनउती संगी चउंक पूरावव जी लीपव अंगना दुवारी दियना
जलावव जी आये हे पहुना घर में बन के भगवान जी’ हमारी संस्कृति का बखान किया कि छत्तीसगढ़ में विभिन्न पर्व किस तरीके से मनाऐ जाते हैं।
बी एड प्रथम सेमेस्टर की छात्रा रितिका यादव ने छत्तीसगढ़ की बोली भाषा का वर्णन करते हुए कहा छत्तीसगढ़ के बोली छत्तीसगढ़ के भाखा, सकेल के रखबो संगी हमन आधा-आधा, छत्तीसगढ़ के बोली मिठ गुत्तुर् हे, बासी संग म मिरचा चुच्चूर् हे।
बी एड प्रथम सेमेस्टर के छात्र पुकेश्वर ने छत्तीसगढ़ में पहने जाने वाले आभूषणों का बखान करते हुए ‘सुनव रे छत्तीसगढ़ सिंगार ‘पीन खोचनी मुड़ के सोभा, बेंनी मा
झाबा गथावत हे दुनों कान मा खीनवा पहिरे , बारी मन ला
भावत हे सोलह सिंगार के माध्यम से विभिन्न प्रकार के आभूषणों की महत्ता पर कविता पाठ किया।
बी एड प्रथम सेमेस्टर के छात्र प्रांजल ने ‘जाड़ के महीना’ का वर्णन करते हुए कहा कि दुब्बर ल दु अषाढ़ होगे सियनहा के जीना, जब ले आए हावे संगी जाड़ के महीना जिनगी हा जईसे पहार होगे गा कविता के माध्यम से ठंड के माह में विशेषकर पूस महीना में पड़ने वाले ठंड का बखान किया ।
बी एड प्रथम सेमेस्टर की छात्रा सरला ने छत्तीसगढ़ का वर्णन करते हुए कहा छनन छनन पैरी बाजे बाजे ढोल नगाड़ा, मिठू मिठू मैना बोले, कइसे सुंदर नजारा , स्वर्ग जईसन लागे सुंदर, हमर राज छत्तीसगढ़ कविता द्वारा छत्तीसगढ़ की सुन्दरता का वर्णन किया।
बी एड प्रथम सेमेस्टर के विद्यार्थी नीरज देशमुख ने अपनी कविता के माध्यम से शहर और गांव के लोगों का बखान किया मैं गवइ गांव के गोठ गोठीयाथओ, तै शहर के बात बता दे जी, मैं जय जोहार मा हाथ जोड़थव, तै ह गुड मॉर्निंग अंगियाले जी
बी एड प्रथम सेमेस्टर के विद्यार्थी मुकेश ने अपनी कविता में कहा छत्तीसगढ़ के निवासी रे भैया छत्तीसगढ़िया मोर बोली रे छत्तीसगढ़ के घर घर मा बंधे हैं, प्रेम मया के डोरी रे ।
सहायक प्राध्यापक डॉक्टर अर्चना तिवारी सेठ बद्रीलाल खंडेलवाल शिक्षा महाविद्यालय ने कार्यक्रम में निर्णायक की महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हुए कहा सभी विद्यार्थियों ने बहुत ही शानदार प्रस्तुति दी और अपना निर्णय दिया।
समूह नृत्य
प्रथम . पुष्प लता साहू एवं समूह बी एड प्रथम सेमेस्टर
द्वितीय . प्रांजल एवं समूह व पेमेश्वरी एवं समूह बी एड प्रथम सेमेस्टर
तृतीय . स्वाति एवं समूह बी एड प्रथम सेमेस्टर
एकल नृत्य
प्रथम . पुष्प लता साहू बी एड प्रथम सेमेस्टर
द्वितीय . रोमिका मानकर बी एड तृतीय सेमेस्टर
तृतीय . पेमेश्वरी बी एड तृतीय सेमेस्टर
कविता पाठ
प्रथम . सरला निर्मलकरए नीरज देशमुख एवं प्रांजल देशमुख
द्वितीय . पुकेश्वर, रितिका यादव
तृतीय . मुकेश, ममता प्रमाणिक बी एड प्रथम सेमेस्टर, ईरेंद्र बी एड तृतीय सेमेस्टर ने प्राप्त किया
कार्यक्रम में शिक्षा विभाग के समस्त प्राध्यापक एवं समस्त डी एल एड प्रथम वर्ष, बी एड प्रथम एवं तृतीय सेमेस्टर तथा एम एड तृतीय सेमेस्टर के समस्त विद्यार्थी उपस्थित रहे।
छत्तीसगढ़ी कविता पाठ एवं नृत्य प्रतियोगिता के समापन पर शिक्षा विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ पूनम निकुम्भ ने बी एड प्रथम एवं तृतीय सेमेस्टर के सभी विद्यार्थियों को बधाई देते हुए कहा कार्यक्रम बहुत ही अच्छा रहा विचारों की अभिव्यक्ति, छत्तीसगढ़ी कविता पाठ एवं लोक नृत्य का कार्यक्रम बहुत ही सराहनीय रहा सभी प्रतिभागियों ने शानदार प्रस्तुति दी ।
कार्यक्रम में मंच संचालन बी एड प्रथम सेमेस्टर की छात्रा जयश्री जुरेशिया, ख्याति यादन ने किया एवं आभार प्रदर्श डॉ.शैलजा पवार ने किया।