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अवयस्क से शादी करने का झांसा देकर दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त को 10 साल का सश्रम कारावास, पीड़िता की बड़ी बहन का देवर है अभियुक्त

  दुर्ग । असल बात न्यूज़।।          00 विधि संवाददा ता  शादी करने का लालच देकर बहला फुसलाकर दुष्कर्म करने के आरोपी को दोषसिद्ध पाए जाने पर 1...

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 दुर्ग ।

असल बात न्यूज़।। 

       00 विधि संवाददाता 

शादी करने का लालच देकर बहला फुसलाकर दुष्कर्म करने के आरोपी को दोषसिद्ध पाए जाने पर 10 साल की सजा सुनाई गई है। अपर सत्र न्यायाधीश श्रीमती संगीता नवीन तिवारी के न्यायालय ने यह सजा सुनाई है। अभियुक्त, पीड़िता की बड़ी बहन का सगा देवर है। उसे ₹10 हजार के  अर्थदंड  की भी सजा सुनाई गई है। यह राशि नहीं अदा करने पर उसे एक वर्ष का अतिरिक्त कारावास भुगतना पड़ेगा। अभियुक्त की उम्र भी 22 वर्ष से अधिक नहीं है। 

यह प्रकरण अप्रैल 2019 का नंदिनी थाना क्षेत्र के अंतर्गत का है। प्रकरण में न्यायालय के द्वारा यह पाया गया कि अभियुक्त ने अभियोक्त्री की नाबालिक अवस्था में उसे विवाह का प्रलोभन देकर उसके साथ एक से अधिक बार शारीरिक संबंध स्थापित कर ब्लॉतसंग एवं गुरुत्तर लैंगिक हमला कारीत किया है। इस मामले में स्वीकृत तथ्य है कि प्रार्थी पक्ष एवं अभियुक्त एक दूसरे को जानते पहचानते हैं तथा अभियुक्त अभियोक्त्री की बड़ी बहन का सगा देवर है।

अभियोजन द्वारा प्रस्तुत मामले के अनुसार पीड़िता की बड़ी बहन की शादी ग्राम हसबंद जिला रायपुर में हुई है। उसकी दीदी एवं जीजा के साथ उसकी दीदी का देवर आरोपी भी उनके घर आना जाना करता था। इसी दौरान उसने उसके साथ शादी करने की बात कही और दुष्कर्म किया तथा बार-बार करता रहा। पीड़िता ने जब उसे शादी करने को कहा तो उसने बताया कि उसकी शादी दूसरी जगह तय हो गई है। उसके बार-बार आग्रह करने पर भी वह उससे शादी करने के लिए तैयार नहीं हुआ। पीड़िता ने तब पूरी घटना की जानकारी अपने माता-पिता को दी। पीड़िता के पिता, नाना तथा अन्य ने उसके घर जाकर उसे मनाने की कोशिश की लेकिन वह शादी के लिए तैयार नहीं हुआ। पीड़िता ने अपनी बड़ी बहन को घटना की जानकारी दी तो उसके ससुराल वाले उसे भी मायके पहुंचा दिए।

न्यायालय के द्वारा प्रकरण में लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 की धारा 6 के तहत अभियुक्त को 10 वर्ष का सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। वही ₹10000 का अर्थदंड दिया गया है।



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