भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारियों को बोनस देने की घोषणा हो गई है।कर्मचारी वर्ग के द्वारा इस बोनस की घोषणा का लंबे समय से इंतजार किया जा ...
भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारियों को बोनस देने की घोषणा हो गई है।कर्मचारी वर्ग के द्वारा इस बोनस की घोषणा का लंबे समय से इंतजार किया जा रहा था। बताया जाता है कि इस साल सेल फायदे में है इसलिए कर्मचारियो को उम्मीद थी कि बोनस भी इस साल अधिक मिलेगा।बोनस की राशि पर मिश्रित प्रतिक्रिया हुई है। कुछ कर्मचारी संगठनों ने कहा है कि इस साल कर्मचारियों को बोनस के मामले में फिर छला गया है।
भिलाई। असल बात न्यूज़।
दीपावली का पर्व समीप आने के साथ संयंत्र के कर्मचारियों का बोनस के लिए इंतजार भी बढ़ता जाता है। जानकारी के अनुसार, पिछले साल संयंत्र कर्मियों को 15000 के आसपास बोनस मिला था। इस साल सेल,अधिक फायदे में है इसके चलते कर्मचारियों को उम्मीद थी कि बोनस की राशि भी बढ़ेगी। बताया जाता है कि यहां विभिन्न यूनियन के प्रतिनिधियों की जो बातचीत हुई थी उसमें कहा गया था कि एनजेसीएस की बैठक में दिल्ली में कम से कम ₹35 हजार बोनस दिलाने पर जोर दिया जाएगा। एनजेसीएस की बैठक हो गई और उसमें कर्मचारियों को ₹16,500 बोनस देने पर सहमति हो गई है।
बीएसपी वर्कर्स यूनियन ने एनजेसीएस यूनियन और प्रबंधन के द्वारा कार्मिकों के लिए इस साल के बोनस पर किए गए समझौते को पूर्णता दुर्भाग्य जनक एवं कर्मियों के भावनाओं को आहत करने वाला बताया। यूनियन ने कहा कि 16,500 का बोनस कर्मचारियों के साथ धोखा है।
बीएसपी वर्कर्स यूनियन के कार्यकारिणी की बैठक यूनियन के अध्यक्ष उज्जवल दत्ता की अध्यक्षता में हु इ जिसमें एक स्वर से सभी पदाधिकारी एवं सदस्यों ने भिलाई इस्पात संयंत्र एवं सेल के कर्मचारियों के पास लिए घोषित बोनस 16500 को बहुत ही दुर्भाग्य जनक एवं भिलाई इस्पात संयंत्र के मेहनतकश कर्मियों के भावनाओं को आहत करने वाला बताया।
बैठक में यूनियन के अध्यक्ष उज्जवल दत्ता ने कहा कि हर बार बीएसपी कर्मियों को बोनस के नाम पर छला जाता है । भिलाई में स्थानीय स्तर पर यूनियने कुछ अलग बात करती है और दिल्ली जाकर एनजेसीएस की बैठक में अलग बात करती है। इनकी इसी प्रवृत्ति के कारण आज भिलाई स्टील प्लांट के कर्मचारियों के अंदर ट्रेड यूनियन के प्रति विश्वास खत्म होते जा रहा है ।और कर्मचारी ट्रेड यूनियन के किसी भी आंदोलन में स्वयं से खड़े नहीं होते हैं क्योंकि कर्मचारी ट्रेड यूनियन को अपने साथ नहीं पाते हैं। वर्तमान समय में अब एनजेसीएस समिति की भूमिका कर्मचारी हित में नहीं रह गई है। अतः इसे भंग कर नए रुप में लाना चाहिए। जिसके सदस्य मात्र कार्यरत नियमित कर्मचारी को ही होना चाहिए।
यूनियन के महासचिव खूबचंद वर्मा ने कहा कि भिलाई इस्पात संयंत्र में कार्यरत प्रतिनिधि यूनियन इंटक एवं उसके साथी एनजेसीएस यूनियन ,कर्मचारियों को लाभ दिलाने में पूर्ण रूप से नाकाम हो चुकी है । वक्त आने पर भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारी भी ऐसे दो मुहा बात करने वाले इंटक यूनियन को जरूर सबक सिखाएंगे।
बीएसपी वर्कर्स यूनियन के उप महासचिव शिव बहादुर सिंह ने कहा एनजेसीएस यूनियन ने दिखा दिया है कि उनकी प्रबंधन के साथ पूर्णता मिलीभगत है। एनजेसीएस यूनियन नेता सिर्फ कर्मचारियों को भ्रमित करने के लिए भिलाई इस्पात संयंत्र के सामने नाटक कर रहे थे और इसी प्रकार का नाटक ये हर वर्ष करते हैं । जिसे अब भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारी भली-भांति समझने लगे है। 16500 का बोनस कर्मचारियों के साथ धोखा है।एनजेसीएस समिति को अब हर हाल में भंग होना ही चाहिए।
बीएसपी वर्कर्स यूनियन के वरिष्ठ उपाध्यक्ष नोहर सिंह गजेंद्र ने कहा कि 38000 की बात करके आधा बोनस भी नहीं दिला पाना प्रतिनिधि यूनियन इंटक की पूरी तरह नाकामी को प्रदर्शित करता है ।यदि इंटक यूनियनों के अंदर कर्मचारी हित की थोड़ी भी भावना है तो यह सबसे पहले एनजेसीएस की सदस्यता से इस्तीफा दे ।और अपने कृत्य के लिए कर्मचारियों से माफी मांगे।
यूनियन के वरिष्ठ सचिव आशीष श्रीवास्तव ने कहा कि भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारियों ने करोना महामारी जैसे अवसर पर भी जान जोखिम में रखकर काम किया और भिलाई इस्पात संयंत्र को सर्वोच्च शिखर में रखा इसके बावजूद कर्मचारियों को बोनस के रूप में धोखा देना यह दिखाता है कि प्रबंधन एवं एनजेसीएस यूनियन नेताओं के लिए कर्मचारियों के मेहनत की कोई कीमत नहीं है।
उप महासचिव टी दिलेश्वर राव एवं जितेन्द्र यादव ने कहा कि जब एनजेसीएस के यूनियन को प्रबंधन द्वारा कुछ समितियों का सदस्य बनाकर सुविधा देने की शुरुआत की गई थी। तभी से समझ में आने लगा था कि इस बार बोनस मैं बहुत बड़ा धोखा होने वाला है क्योंकि जिस प्रकार से समितियां बनाई गई इससे स्पष्ट दिख रहा था कि प्रबंधन और कर्मचारी संगठनों में मिलीभगत हो चुकी है।
बैठक में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित किया गया कि वर्तमान एनजेसीएस समिति को भंग कर नए रूप में लाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को यूनियन के पदाधिकारी सदस्य तथा भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारियों के माध्यम से पत्र भेजा जाएगा ।इसमें समिति में मात्र नियमित कर्मचारियों की सदस्यता हो मांग प्रमुख रूप से की जाएगी इसके लिए बीएसपी वर्कर्स यूनियन अभियान चलाकर भिलाई इस्पात संयंत्र के सभी कर्मचारियों से हस्ताक्षर लेकर प्रधानमंत्री को पत्र भेजेगा.
बैठक में प्रमुख रूप से यूनियन के अध्यक्ष उज्जवल दत्ता महासचिव खूबचंद वर्मा उप महासचिव शिव बहादुर सिंह , दिलेश्वर राव, जितेंद्र यादव नरसिंह राव वरिष्ठ सचिव प्रदीप सिंह राजेश कांत फिरंगी, सचिव संदीप सिंह वीर सिंह ,साहू ऋषभ घोष वरिष्ठ उपाध्यक्ष नोहर सिंह गजेंद्र, जोगाराव, जुगल किशोर देवांगन, चंद्रशेखर जन बंधु, कार्यकारिणी सदस्य तारीख अजीम सिद्दीकी, राम चंद्र साहू ,ईमान सिन्हा आदि उपस्थित थे।