गोधन न्याय योजना राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी योजना है। राज्य सरकार अभी अपनी योजनाओं में ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए लगातार न...
गोधन न्याय योजना राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी योजना है। राज्य सरकार अभी अपनी योजनाओं में ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए लगातार नए कार्यक्रम शामिल कर रही है और गोधन न्याय योजना को भी इसी कड़ी से जोड़ा गया है। ताजा परिस्थितियों में दुर्ग जिले में ही गोधन न्याय योजना पर समुचित तरीके से काम नहीं हो रहा है। जिले के कलेक्टर डॉक्टर भूरे ने भी जिले के विभिन्न इलाकों में गोधन न्याय योजना के क्रियान्वयन पर असंतोष जाहिर किया है। उन्होंने उन इलाकों के पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारी को सात दिनों के भीतर पूरी व्यवस्था सुधारने का निर्देश दिया है।
दुर्ग । असल बात न्यूज़।
कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे ने आज नगरीय निकायों में गोधन न्याय योजना के क्रियान्वयन की स्थिति देखी। उतई और अहिवारा में इसके क्रियान्वयन पर वे नाराज हुए। उन्होंने कहा कि गोधन न्याय योजना शासन की सबसे महत्वपूर्ण योजना है। इसके क्रियान्वयन के लिए निरंतर मानिटरिंग और तकनीकी मानदंडों के अनुरूप व्यवस्था करने की जरूरत है लेकिन इन निकायों में कार्य अपेक्षा के अनुरूप नहीं है। उन्होंने कहा कि कार्य की शीघ्रता के साथ ही तकनीकी मानदंडों को सुनिश्चित करें। कलेक्टर ने इन निकायों में गोबर के रखरखाव पर नाराजगी जाहिर की, साथ ही वर्मी कंपोस्ट बनाने के लिए चल रही धीमी प्रक्रिया पर भी तीव्र नाराजगी जाहिर की। कलेक्टर ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में एवं अन्य निकायों में व्यवस्थित तरीके से तकनीकी मानदंडों के मुताबिक वर्मी कंपोस्ट तैयार किया जा रहा है। पूरी प्रक्रिया का पालन करने से ही उच्च कोटि की वर्मी कंपोस्ट की गुणवत्ता सुनिश्चित होती है। कलेक्टर ने कहा कि गोधन न्याय योजना शासन की सर्वोच्च प्राथमिकता की योजना है इसमें किसी भी तरह की लापरवाही किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं की जाएगी और जिम्मेदार अधिकारी पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
-अमलेश्वर-सांकरा चौड़ीकरण कार्य भी देखा कलेक्टर ने - अमलेश्वर से सांकरा तक फोर लेन चौड़ीकरण कार्य आरंभ हो गया है। कलेक्टर ने पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों से कहा कि लोगों की सुविधाओं के लिए उपयोगी और सुंदर सड़क तैयार करनी है। उन्होंने कहा कि सड़क के निर्माण में डेंजर प्वाइंट्स संबंधित तकनीकी दृष्टिकोण का विशेष रूप से ध्यान रखें ताकि सड़क सुरक्षा के तकनीकी मानदंडों पर खरी उतरती हुई मुकम्मल सड़क तैयार हो सके। उन्होंने बिजली कंपनी के अधिकारियों से पोल शिफ्टिंग का कार्य शीघ्र समाप्त करने को भी कहा। रायपुर से पाटन आने के मार्ग पर भव्य प्रवेश द्वार का निर्माण किया जाएगा। कलेक्टर ने इस संबंध में भी निर्देश दिये। कलेक्टर ने पाटन में चल रहे अन्य निर्माण कार्यों को भी तय समय पर पूरा करने के निर्देश पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों को दिए।
*पंदर में बना नया धान खरीदी केंद्र भी देखा*- कलेक्टर ने पंदर में बना नया धान खरीदी केंद्र भी देखा। इससे पंदर के अतिरिक्त गुजरा और नवागांव के ग्रामीणों को भी धान बेचने में आसानी होगी। यहां एक हजार किसानों का धान बिकेगा और 1100 हेक्टेयर रकबे का पंजीयन किया गया है। समिति के अधिकारियों ने बताया कि लगभग चालीस हजार क्विंटल की धान खरीदी इस केंद्र से होगी। केंद्र में चबूतरे बनाये जा चुके हैं।
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*जल्द शुरू होंगे मनरेगा से नहरों के कार्य*- कलेक्टर ने जलसंसाधन विभाग के अधिकारियों से सिंचाई संबंधी संरचनाओं के क्रियान्वयन की प्रगति की। उन्होंने कहा कि मनरेगा से स्वीकृत कार्य शीघ्रताशीघ्र आरंभ किये जाएं। सिंचाई संबंधी स्वीकृत कार्यों में समय सीमा के साथ ही गुणवत्ता का भी पूरा ध्यान रखा जाए।





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